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Raat Bhaari Hai [The Night Is Heavy]
- Narrated by: Davinder Dhanoya
- Length: 5 hrs and 13 mins
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Publisher's Summary
पाकिस्तान के नामी-गिरामी लेखकों की कहानियाँ तथा रचनाएँ जिनमें उन्होंने मज़हब और राजनीति की तानाशाही को ललकारा है - अमृता प्रीतम द्वारा प्रस्तुति।
"मेरे दिल की बस्तियाँ कई हैं, जिनमें से कई वीरान हो चुकी हैं....मेरे ननिहाल का और ददिहाल का, दोनों गाँव इस तरह छूट गए, जैसे किसी बच्चे से उसकी माँ छूट जाए। सियासत वालों ने मिलकर मुल्क बाँट लिया। लोग तक़सीम कर लिये। पंजाब भी तक़सीम हुआ है। मेरे हिस्से का पंजाब भारत बन गया। अमृता और कृश्न चंदर का पंजाब पाकिस्तान बन गया.....मेरा सतलुज दरिया कांग्रेस वालों ने ले लिया, उनका रावी मुस्लिम लीग वाले ले गए..."
- अफ़ज़ल तौसीफ़
"मेरे ख़्याल में लेखक वह होता है, जो किसी तानाशाह के जुल्मों से कम्प्रोमाईज़ नही करता। उसकी कमिटमैंट लोगों के साथ होती है। जिस अहद में वह जीता है, उस अहद में अपने इर्द-गिर्द के लोगों की पीड़ा और प्यास से अपने को आइडैन्टीफाई करता है...."
- फ़ख़्र ज़मां
Please note: This audiobook is in Hindi.