गिनकर जूते मारने की कला केवल इलाहाबादियों को ही आती है! अब आप पूछेंगे कि ये क्या बकैती है, जूता भी कोई गिनकर मारता है क्या ? तो सुनिये एक इलाहाबादी किस्सा जो मेरे एक वरिष्ठ ने मुझे सुनाया था ..
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